पुस्ताकलय की स्थिति सुधारने के लिए नीतीश सरकार बनाएगी राजकीय पुस्तकालय नीति, सरकारी कर्मियों को प्रमोशन के लिए करना होगा इंतजार

बिहार विधानसभा में बजट सत्र चल रहा है. सत्र के दौरान ध्यानाकर्षण सूचना के जरिए भाकपा माले के विधायक सुदामा प्रसाद और महबूब आलम के साथ-साथ अन्य सदस्यों ने पुस्तकालय की दुर्दशा को लेकर सरकार से जवाब मांगा था. इसके जवाब में शिक्षा मंत्री ने सदन में कहा कि सरकार कार्य योजना बनाकर काम करने का मकसद रखती है और सरकार का मानना है कि इसके लिए अलग से एक नीति लाए जाने की जरूरत है.

राजकीय पुस्तकालयों की स्थिति सुधरी

भाकपा माले के विधायक महबूब आलम ने कहा कि बिहार में पुस्तकालय को पुनर्जीवित करने की जरूरत है. पुस्तकालयों के नाम से जमीन है और अगर सरकार चाहती है तो उसको पुनर्जीवित करना चाहिए. विजय कुमार चौधरी ने कहा कि केरल में पुस्तकालयों के ऊपर कितना खर्च किया जाता है इसकी जानकारी नहीं है लेकिन हम राजकीय पुस्तकालय नीति जरूर बनाना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि सरकार चाहती है कि राजकीय पुस्तकालयों की स्थिति सुधरी और इस दिशा में नीति बनाकर काम करने की योजना है

सदन में उठा सरकारी कर्मियों को प्रमोशन दिए जाने का मामला

विधानसभा में सरकारी कर्मियों को प्रमोशन दिए जाने का मामला आज एक बार फिर उठा. आरजेडी के विधायक रामानुज प्रसाद ने ध्यानाकर्षण के जरिए इस मामले पर सरकार से जवाब की मांग की. सदन में सरकार की तरफ से प्रभारी मंत्री श्रवण कुमार ने बताया कि मामला कोर्ट में होने की वजह से प्रमोशन को लेकर फैसला नहीं किया जा रहा है. सरकार ने सदन में स्पष्ट कर दिया कि न्यायालय का फैसला आने तक के प्रमोशन को लेकर भी सरकार कोई फैसला नहीं करने जा रही. मंत्री श्रवण कुमार ने बताया कि मामला न्यायालय में विचारणीय है. अभी इस मामले में कोर्ट में सुनवाई चल रही है. राज्य सरकार प्रोन्नति देने के समर्थन में है लेकिन मामला न्यायालय में है