BALAKOT AIR STRIKE : 26 फरवरी 2019… रात के 3ः30 बजे… पलक झपकते हीं मिराज विमानों ने नेस्तानाबूद कर दिये ‘जैश’ के ठिकाने

पूरा देश पुलवामा में शहीद हुए 40 जवानों से आहत था। मन में आक्रोश था। हर हिंदुस्तानी के दिल में आतंकियों को धूल चटाने की बातें उफान ले रही थीं। दिन आया 26 फरवरी 2019… रात के करीब 3ः30 बज रहे थे। पाकिस्तानी एयरस्पेस में फाइटर जेट चील की तरह मंडरा रहे थे। जगह था पाकिस्तान का बालाकोट। एक के बाद बम धमाकों से सोये लोग नींद से जाग उठे थे। असल में यह भारतीय वायुसेना का ऑपरेशन बंदर था। 16 मिराज 2000 विमानों ने ‘जैश-ए-मोहम्मद’ के आतंकी ठिकानों को नेस्तानाबूद कर दिया था। आज बालाकोट एयरस्ट्राइक की बरसी है।

आइये जानते हैं कि किस तरह इस हमले को अंजाम दिया गया…

पाकिस्तानी ने दी थी हमले की जानकारी

भारतीय वायुसेना के ऑपरेशन की जानकारी दुनिया को पाकिस्तानी सेना के तत्कालीन प्रवक्ता मेजर जनरल आसिफ गफूर के एक ट्वीट से मिली। गफूर ने लिखा कि भारतीय वायुसेना ने मुजफ्फराबाद सेक्टर से घुसपैठ की कोशिश की थी, लेकिन पाकिस्तानी सेना द्वारा ठीक समय पर प्रभावी जवाब दिया गया। गफूर ने दावा किया कि पाकिस्तान को किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ है। इस बीच पाकिस्तान सरकार ने कहा कि भारत ने उकसावे की कार्रवाई की है और इस्लामाबाद को इसका जवाब देने का हक है। पाकिस्तान के दावे के विपरीत भारत ने कई सबूत पेश कर कहा कि इस हमले में आतंकी शिविर तबाह हो गया।

पाकिस्तान ने किया जवाबी हवाई हमला

पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने आपात बैठक के बाद कहा, ’उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ उकसावे की कार्रवाई की। यह नियंत्रण रेखा का उल्लंघन है। मैं इसे नियंत्रण रेखा का उल्लंघन मानता हूं और पाकिस्तान को आत्मरक्षा के लिए समुचित जवाब देने का हक है।’ भारत के हवाई हमले के बाद पाकिस्तान सरकार और सेना दबाव में आ गई और उसने 27 फरवरी को एफ-16 विमानों से जम्मू-कश्मीर सेक्टर में हमला बोला। एरियल बैटल में भारत ने मिग-21 से पाकिस्तान के एफ-16 को मार गिराया था। इस दौरान भारत का मिग-21 विमान भी क्रैश हो गया था।’ मिग-21 के पायलट अभिनंदन वर्धमान को पाकिस्तान ने हिरासत में ले लिया।

इस बीच पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता गफूर ने दावा किया कि भारत के दो पायलट उसकी हिरासत में हैं और भारतीय वायुसेना के दो विमान मार गिराए हैं। गफूर ने बताया कि हमारा प्लान भारतीय सेना या नागरिक को नुकसना पहुंचाना नहीं था। उन्होंने कहा कि जब हमने अपने टारगेट ले लिए तो भारतीय वायुसेना के दो जहाज लाइन ऑफ कंट्रोल पारकर पाकिस्तान की हद में आ गए, जिन पर पाकिस्तानी वायुसेना ने अटैक किया और उन्हें मार गिराया। हालांकि कुछ ही देर बाद गफूर का दो विमान मार गिराने का दावा खोखला साबित हुआ और उन्होंने सफाई दी कि एक पायलट को कब्जे में लिया गया है।

बालाकोट हमला अहम क्यों ?

बालाकोट हमला कई मायनों में खास था। इस हमले के जरिए भारत ने न केवल पाकिस्तान बल्कि पूरी दुनिया को संदेश दिया कि वह आतंकी हमलों को बर्दाश्त नहीं करेगा और उन्हें रोकने के लिए किसी भी हद तक जा सकता है। पुलवामा हमले में भारतीय जवानों की शहादत का बदला वायुसेना ने न सिर्फ एलओसी पार की बल्कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर को पार करके आतंकी ठिकानों पर एयर स्ट्राइक की। यह 5 दशकों में पहली बार हुई थी। इससे पहले 1971 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में भारत ने एयर स्ट्राइक के जरिए पाकिस्तान को धूल चटाई थी।

यहां तक कि 1999 के करगिल युद्ध में भी भारतीय वायुसेना ने आतंकी आउटपोस्ट पर बम गिराते वक्त एलओसी पार न करने का खास ध्यान रखा था। यह भी खास बात है कि 2016 में उरी हमले के बाद सर्जिकल स्ट्राइक से केंद्र की वर्तमान मोदी सरकार पहली ऐसी सरकार है जिसने इस तरह की जवाबी कार्रवाई को सार्वजनिक किया है। हांलाकि ऐसी कार्रवाई पूर्व की सरकारों में भी हुई है।