देश में छिड़ी जनसंख्या वृद्धि पर बहस, प्रधानाचार्य प्रो तपन कुमार शान्डिल्य बोले, जनसंख्या वृद्धि रोकने व रोजगार बढ़ाने के लिए रोड मैप की आवश्यकता

विश्व जनसंख्या दिवस के उपलक्ष में कॉलेज ऑफ कॉमर्स, आर्ट्स एंड साइंस, पटना के स्नातकोत्तर भूगोल विभाग और आइ०क्यू०ए०सी० के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित दो दिवसीय वेबिनार सोमवार को सम्पन्न हो गया। “ओवरकमिंग द चैलेंजेज: बिहार पापुलेशन प्रोस्पेक्ट्स” विषय पर आयोजित दो दिवसीय ऑनलाइन वेबीनार की अध्यक्षता करते हुए प्रिंसिपल प्रो तपन कुमार शान्डिल्य ने बिहार को तरक्की की राह पर आगे ले जाने के लिए जनसंख्या के इष्टतम उपयोग और कृषि आधारित पर बल देते हुए कहा कि इस के लिए सरकार को एक रोडमैप बनाकर मानव शक्ति उपयोग के लिए नियोजन करना चाहिए ताकि लोगों को गृह राज्य में ही रोज़गार उपलब्ध हो सके।

उन्होंने बताया कि रोज़गार तथा आजीविका सृजन में इसके उच्चांश के कारण कृषि को भारतीय अर्थव्यवस्था का मूलाधार माना जाता है। यह 52 प्रतिशत कार्यबल को रोजगार उपलब्ध कराकर आधे बिलियन से अधिक लोगों को सहारा देता है। राष्ट्र के सकल घरेलू उत्पाद में इसका योगदान वर्ष 2006-07 में लगभग 18.5 प्रतिशत है। यह कच्ची सामग्री का भी एक महत्वपूर्ण स्रोत है साथही अनेक औद्योगिक उत्पादों विशेषत: उर्वरक, कीटनाशी, कृषि औजार तथा अनेक प्रकार की उपभोक्ता वस्तुओं के लिए इसकी भारी मांग है।

वेबिनार को संबोधित करते हुए आई०सी०एम०आर० के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ० प्रशांत कुमार सिंह ने कार्डियोवैस्कुलर रोगों, डायरिया, कैंसर, टीबी, हृदय रोग जैसे साइलेंट किलर रोगों व तंबाकू, शराब आदि से होने वाली बीमारियों व उसके दुष्प्रभाव गंभीरता से प्रकाश डाला।

आईएएसपी के प्रेसिडेंट डॉ. यू. वी. सोमयाजुलू ने बिहार की जनसंख्या और विकास से संबंधित मुद्दों एवं चुनौतियों के बारे में बताते हुए मानव एवं संसाधनों के इष्टतम उपयोग पर बल दिया। उन्होंने गरीबी, बेरोजगारी, पोषण, प्रवास, परिवार नियोजन, मातृ कांग्रेस एवं बाल स्वास्थ्य आदि मुद्दों पर चर्चा की लोगों के प्रवास को रोकने तथा राज्य में नागरिकों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए उन्होंने कृषि आधारित उद्योगों के साथ-साथ हॉर्टिकल्चर आधारित उद्योगों, फूड प्रोसेसिंग, डेयरी, शक्कर उद्योगों, आदि के विकास का सुझाव दिया। हेल्थ केयर सेंटर में सुधार के साथ हेल्थ इंश्योरेंस कवरेज को बढ़ाने की आवश्यकता बताई।

वेबीनार का संचालन डॉ० विद्या यादव ने किया। । धन्यवाद ज्ञापन भूगोल की विभागाध्यक्ष डॉ. रश्मि रंजना ने किया। वेबीनार में आइ०क्यू०ए०सी० के समन्वयक प्रोफेसर संतोष कुमार, कुलानुशासक डॉ. मनोज कुमार, स्नातकोत्तर भूगोल विभाग के डॉ. अनूप कुमार सिंह, पटना विश्वविद्यालय के भूगोल विभागाध्यक्ष प्रोफेसर अनुराधा सहाय, प्रोफेसर रवि किरण शर्मा, ए. एन. कॉलेज की डॉ. विनीता प्रसाद और डॉ. भावना निगम आदि कई शिक्षकों ने भाग लिया।वेबिनार में बड़ी संख्या में शिक्षकों और छात्र – छात्राओं ने भाग लिया।