अहीर रेजिमेंट की मांग को मिला पप्पू यादव का साथ, झंडा दिखा मार्च को किया रवाना।

अहीर रेजिमेंट की मांग को लेकर चल रहे मार्च को जाप राष्ट्रीय अध्यक्ष पप्पू यादव ने गांधी मूर्ति गांधी मैदान से झंडा दिखाकर रवाना किया। सेना में अहीर रेजिमेंट की सौ साल पुरानी मांग को जोर शोर से उठाते हुए पप्पू यादव ने कहा कि अहीर रेजिमेंट हमारा अधिकार हैं। अहीर सैनिकों का देश की रक्षा का स्वर्णिम इतिहास रहा हैं। यह एक लड़ाकू जाति है। युद्ध के सभी मोर्चों पर ये लोग सबसे अग्रिम कतार में होते हैं। हमारी मांग है कि भारत सरकार अहीर रेजिमेंट को मान्यता दे।

रासबिहारी लाल मंडल ने की थी पहली बार मांग
उल्लेखनीय है कि बिहार के कद्दावर कांग्रेसी नेता और बीपी मंडल के पिता रासबिहारी लाल मंडल ने पहली बार अहीर रेजिमेंट की मांग रखी थी। रेजिमेंट यानी सेना की टुकड़ियां ब्रिटिश काल में कूटनीति के तहत बनायी गयी थी। हालांकि यह व्यवस्था सिर्फ थल सेना में ही है। वायु सेना या नौसेना में ऐसा कोई इंतजाम नहीं है। सिख रेजिमेंट, गोरखा रेजिमेंट, राजपूत रेजिमेंट, मराठा रेजिमेंट की तरह अहीर रेजिमेंट की मांग की जाती रही है। वैसे चमार रेजिमेंट को दूसरे विश्वयुद्ध के बाद खत्म कर दिया गया। सेना में इन टुकड़ियों को मिलाकर सेना कंप्लीट होती है।

पक्ष विपक्ष दोनों पर चुप्पी का लगाया आरोप
इस मौके पर पत्रकारों से बात करते हुए जाप सुप्रीमो पप्पू यादव ने कहा कि बिहार में सत्ता पक्ष और विपक्ष बीपीएससी मुद्दे पर मौन हैं। सत्ता पक्ष और विपक्ष के द्वारा आइएएस रणजीत कुमार सिंह को बचाने का प्रयास किया जा रहा हैं। छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने वाले आइएएस अधिकारी के राजनीतिक संरक्षण की जांच होनी चाहिए।

जांच नहीं होने पर जाप करेगा आंदोलन
रणजीत और बीपीएससी प्रश्नपत्र लीक मामले के आरोपी कृष्ण मोहन के बीच घनिष्ठ सम्बन्ध हैं। इन दोनों के बीच लगातार बातचीत के साथ साथ प्रश्नपत्रों का आदान प्रदान हो रहा था। पप्पू यादव ने कहा कि जबतक रणजीत पर इंक्वायरी नहीं होती है, तो जन अधिकार पार्टी आंदोलन करेगी। मौके पर जाप राष्ट्रीय महासचिव प्रेमचन्द सिंह, राजेश पप्पू, पटना जिलाध्यक्ष सचिदानन्द यादव उपस्थित थे।