पटना नगर निगम द्वारा शुक्रवार से सभी अंचलों में अतिक्रमण हटाओ अभियान शुरू किया गया। बायपास नाला, मंदिरी नाला सहित शहर के सभी बड़े नालों के आसपास स्थित अवैध निर्माण ध्वस्त किया गया। गौरतलब है कि मानसून के दौरान अतिक्रमण करने के कारण नाले जाम होते हैं। टास्क फोर्स द्वारा सड़क पर चल रहे अवैध खटाल को तोड़ा गया एवं नाले के किनारे बने गौशाला आदि को हटाया गया। इस दौरान नगर निगम कर्मियों के साथ पदाधिकारी भी मौजूद थे। इसके साथ ही सड़क किनारे स्थित अवैध रूप से लगे बैनर, पोस्टर एवं होर्डिंग को भी हटाया जा रहा है। कंकड़बाग, दीघा, बायपास, बारी पथ, अशोक राजपथ सहित कई जगहों पर जुर्माना भी वसूल किया गया।
*मशीनों से लगातार जारी है नाला उड़ाही*
पटना नगर निगम द्वारा वर्षा ऋतू आगमन से पहले युद्धस्तर पर शहर के सभी बड़े और छोटे नालों की सफाई जारी है। कार्य को जल्द से जल्द पूरा करने का नगर आयुक्त द्वारा पदाधिकारियों को निर्देश दिए गए है। प्रत्येक दिन मुख्यालय स्तर पर कार्यो की समीक्षा भी की जा रही है। जेसीबी द्वारा बड़े और छोटे नालों की उड़ाही कर रही है वहीं सुपर सक्कर मशीन द्वारा अत्याधिक गहराई वाले मैन हॉल की सफाई कराई जा रही है।
विदित है कि पटना नगर निगम द्वारा सम्पूर्ण क्षेत्र में डोर टू डोर कचरा संग्रहण की सेवा दी जा रही है। फिर भी कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा नियमों एवं सरकार के दिशा-निर्देश की अनदेखी करते हुए खुले मैदान एवं खुले नालों में कचरा डंप किया जाता है। यही वजह है कि लगातार नाला उड़ाही के बावजूद कई नालों की उपरी सतह पर प्लास्टिक थैले, बोतल, थर्माकोल के पेपर आदि पाए जाते हैं। वहीं, लगातार अभियान चलाकार नालों को अतिक्रमण मुक्त रखने की कार्रवाई भी की जाती। परन्तु पुलिस बल एवं निगम की टीम के जाते ही दोबारा वह स्थान अतिक्रमित हो जाते हैं। अतिक्रमण की वजह से नाले जाम हो जाते हैं जिससे जल जमाव की समस्या उत्पन्न होती है। इसी कड़ी में लगातार अतिक्रमण के खिलाफ अभियान चलाकार नालों के उपर बने खटाल हटाए जा रहे है। गौरतलब है कि इन खटाल संचालकों द्वारा अक्सर गोबर आदि को नालों में डंप कर दिया जाता है जिससे नाले में पानी का बहाव अवरुद्ध होता है। आम नागरीकों से भी अपील की जा रही है कि वह कचरे के निष्पादन के लिए डोर टू डोर गाड़ियों की मदद लें। खुले नाले में इसे ना बहाएं।
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