
कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में भारत के लिए ब्रॉन्ज मेडल जीतने वाली पहलवान दिव्या काकरान ने दिल्ली सरकार पर बड़ा आरोप लगाया है।
दिल्ली सरकार ने नही किया कोई मदद….
गुरुवार को दिव्या काकरान ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की और अरविंद केजरीवाल सरकार पर किसी भी तरह की मदद न करने का आरोप लगाया इसके साथ ही उन्होंने कहा कि ‘मैं दिल्ली की बेटी हूं। मैं पिछले 20 साल से दिल्ली के गोकुलपुर में रह रही हूं। मैं लड़कों से कुश्ती लड़ती थी जिसके कारण मुझको पैसे मिलते थे ताकि खाने का इंतजाम हो सके। मैंने दिल्ली के लिए 58 पदक जीते हैं। इसके बवजूद दिल्ली सरकार ने कभी हमारी कभी मदद नहीं की।
उत्तरप्रदेश और हरियाणा सरकार ने बढ़ाया हौंसला…
दिव्या काकरान ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि ‘दिल्ली सरकार से मदद न मिलने पर मैंने 2018 में यूपी से लड़ना शुरू किया। 2019 में यूपी सरकार ने मुझे रानी लक्ष्मीबाई पुरस्कार दिया। 2020 में उन्होंने मुझे 20 हजार आजीवन पेंशन दी। वहीं, कॉमनवेल्थ गेम्स में मेडल जीतने पर उन्होंने 50 लाख रुपए और गैजेस्टेड ऑफीसर रेंक की नौकरी देने की घोषणा की है। उत्तर प्रदेश सरकार ने मेरी मदद की, यहां तक कि हरियाणा सरकार ने भी। लेकिन दिल्ली सरकार कभी मदद के लिए नहीं आई।
आम आदमी के विधायक ने मांगा सर्टिफिकेट, मिलने पर बोलती हुई बंद….
आम आदमी पार्टी के विधायक सौरभ भारद्वाज ने ट्वीट कर कहा कि आप दिल्ली राज्य की तरफ से नहीं बल्कि हमेशा उत्तर प्रदेश की तरफ से खेलती रही है। इसके जवाब में दिव्या ने अपने दिल्ली से खेलने का सर्टिफिकेट सोशल मीडिया पर शेयर भी किया है। दिव्या ने सर्टिफिकेट पोस्ट करते हुए लिखा, ‘2011 से 2017 तक मैं दिल्ली से खेलती थी, ये रहा दिल्ली स्टेट का सर्टिफिकेट अगर आपको अब भी यकीन नहीं तो दिल्ली स्टेट से 17 गोल्ड है मेरा, वो सर्टिफिकेट भी अपलोड करूं।
बता दें कि 23 वर्षिय दिव्या काकरान ने कॉमनवेल्थ गेम्स के 68 किग्रा फ्री-स्टाइल कुश्ती में ब्रॉन्ज मेडल जीता है। उन्होंने अपने मुकाबले में विरोधी को सिर्फ 30 सेकंड में ही चित्त कर दिया था। भारत को कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में कुल 61 मेडल मिले हैं।
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