बोधगया में तीन दिवसीय बौद्ध महोत्सव का आगाज, सीएम नीतीश ने राज्य में शांति और उन्नति की कामना की

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने तीन दिवसीय बौद्ध महोत्सव 2020 का दीप प्रज्वलित कर उद्घाटन किया. इससे पहले मंच से बौद्ध भिक्षुओं ने पवित्र सूतपाठ कर उद्घाटन सत्र की शुरूआत की. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी सबसे पहले गया हवाई अड्डा पहुंचे. जहां से सीधे महाबोधि मंदिर पहुंच कर विशेष पूजा अर्चना की और राज्य में अमन और शांति की कामना की.

महाबोधि मंदिर के विकास कार्यों को लेकर समीक्षा बैठक

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में महाबोधि मंदिर एवं बोधगया के विकास कार्यों से संबंधित समीक्षा बैठक हुई. बोधगया टेम्पल मैनेजमेंट कमिटी के सभा कक्ष में हुई बैठक में पर्यटन विभाग एवं बी0टी0एम0सी0 द्वारा बोधगया को आइकोनिक टूरिस्ट डेस्टिनेशन के रूप में विकसित करने हेतु तय की गई समेकित कार्ययोजना एवं अन्य योजनाओं का प्रस्तुतिकरण दिया गया. प्रस्तुतिकरण में बोधगया में प्रतिवर्ष आनेवाले देशी एवं विदेशी पर्यटकों की संख्या, महाबोधि मंदिर की करेंट लैंड यूज, प्रेजेंट मूवमेंट ऑफ टूरिस्ट, महाबोधि पथ, धम्म चक्र चौक, द इनटरनेशनल सेंटर ऑफ बुद्धिज्म लर्निंग, मेडिटेशन गार्डन, बी0टी0एम0सी0 का प्रपोज्ड मास्टर प्लान आदि विषय के संबंध में मुख्यमंत्री को विस्तृत जानकारी दी गयी.

फाइव स्टार होटल की तरह बने 100 बेड का सेंटर

समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने 100 बेड का सेंटर को फाइव स्टार होटल की तरह बनाने का आदेश दिया. इसके साथ ही जेपी उद्यान में मंदिर में आवागमन के लिए एस्केलेटर लगाना का अधिकारियों को निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि यहां लाखों श्रद्वालु आते हैं और उनके लिए पर्याप्त जगह होनी चाहिए. मुख्यमंत्री ने जेपी उद्यान को विकसित करने के साथ-साथ सौंदर्यीकरण का निर्देश दिया. इसकी चाहारदीवारी को औऱ अच्छा बनाईये। जेपी उद्यान से मोचारिक गांव पहुंचकर मुख्यमंत्री ने मुचलिन्द सरोवर के विकास कार्यों का जायजा लिया. कन्वेंशन सेंटर एवं सुजाता होटल को माया सरोवर से कनेक्ट करने का मुख्यमंत्री ने सुझाव दिया। स्टेट गेस्ट हाउस और कन्वेंशन सेंटर का मुख्यमंत्री ने अवलोकन कर अधिकारियों से उनके विकास कार्यों का जायजा लिया। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि पटना के बुद्ध स्मृति पार्क में विपश्यना केंद्र बना हुआ है और आपलोग यहां योग सेंटर बनाना चाह रहे हैं, वह तो ठीक है, लेकिन विपश्यना भी भगवान बुद्ध से जुड़ा हुआ है उसका भी ध्यान रखिए.