सीबीआईसी और सीबीडीटी ने एमओयू पर किया हस्ताक्षर, दोनों संगठनों के बीच डेटा का होगा सहज आदान-प्रदान

केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड और केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड ने आज एक सहमति-पत्र पर हस्ताक्षर किए, जिसका उद्देश्‍य दोनों संगठनों के बीच डेटा का सहज आदान-प्रदान सुनिश्चित करना है। सीबीडीटी के अध्यक्ष प्रमोद चंद्र मोदी और सीबीआईसी के अध्यक्ष एम. अजीत कुमार ने दोनों संगठनों के वरिष्ठ अधिकारियों की मौजूदगी में इस एमओयू पर हस्ताक्षर किए।

हस्ताक्षरित एमओयू में विधिवत सम्मिलित किया गया

यह एमओयू वर्ष 2015 में सीबीडीटी और तत्कालीन केंद्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीईसी) के बीच हस्‍ताक्षरित एमओयू का स्‍थान लेगा। वर्ष 2015 में पिछले एमओयू पर हस्ताक्षर किए जाने के बाद से लेकर अब तक कई महत्वपूर्ण घटनाक्रम हो चुके हैं जिनमें जीएसटी को लागू करना, जीएसटीएन को सम्मिलित करना और केंद्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीईसी) का नाम बदल कर केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआईसी) कर देना शामिल हैं। प्रौद्योगिकी में प्रगति सहित बदलती परिस्थितियों को आज हस्ताक्षरित एमओयू में विधिवत सम्मिलित किया गया है।

डेटा का स्वतः एवं नियमित रूप से आदान-प्रदान संभव

इस एमओयू से सीबीडीटी और सीबीआईसी के बीच डेटा व सूचनाओं का स्वतः एवं नियमित रूप से आदान-प्रदान संभव होगा। डेटा के नियमित आदान-प्रदान के अलावा सीबीडीटी और सीबीआईसी अनुरोध किए जाने पर तत्‍काल अपने संबंधित डेटाबेस में उपलब्ध ऐसी किसी जानकारी का भी एक-दूसरे के साथ आदान-प्रदान करेंगे, जिसकी उपयोगिता दूसरे संगठन के लिए हो सकती है।

डेटा आदान-प्रदान संचालन समूह’ का भी गठन

एमओयू पर हस्ताक्षर किए जाने की तिथि से ही यह लागू हो गया है। यह सीबीडीटी और सीबीआईसी की एक सतत पहल है। ये दोनों संगठन पहले से ही विभिन्न मौजूदा व्‍यवस्‍थाओं के माध्यम से आपस में सहयोग कर रहे हैं। इस पहल के लिए एक ‘डेटा आदान-प्रदान संचालन समूह’ का भी गठन किया गया है, जो डेटा आदान-प्रदान की स्थिति की समीक्षा करने एवं डेटा साझाकरण व्‍यवस्‍था की प्रभावशीलता को और बेहतर बनाने के लिए समय-समय पर बैठक करेगा। यह सहमति-पत्र दरअसल सीबीडीटी और सीबीआईसी के बीच सहयोग एवं आपसी सामंजस्‍य के एक नए दौर की शुरुआत का प्रतीक है।