एयरक्राफ्ट संशोधन बिल-2020 राज्यसभा से पास हो गया है। नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि भारत में नागरिक उड्डयन क्षेत्र में तीन विनियामक निकायों- नागरिक उड्डयन महानिदेशालय, नागरिक उड्डयन सुरक्षा कार्यालय और विमान दुर्घटना जांच कार्यालय को ज्यादा प्रभावी बनाया जा सकेगा।
इस विधेयक के क्या होंगे फायदे
केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने कहा कि एयरक्राफ्ट संसोधन बिल से देश में विमान संचालन की सुरक्षा का स्तर बढ़ाने में सहायता मिलेगी. यह विधेयक विमान अधिनियम, 1934 में संशोधन करके जुर्माना राशि की अधिकतम सीमा को बढ़ाना चाहता है. अभी अधिकतम जुर्माना सीमा 10 लाख रुपये है, जिसे विधेयक में 1 करोड़ रुपये तक किया गया है।
जुर्माना राशि भी बढ़ी
हथियार, गोला बारूद या खतरनाक वस्तुएं ले जाने या विमान की सुरक्षा को किसी भी प्रकार से खतरे में डालने का दोषा पाया जाने पर सजा के अलावा जुर्माना राशि 10 लाख रुपये थी. एयरक्राफ्ट बिल में संशोधन करके अब मौजूदा जुर्माना राशि को 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 1 करोड़ रुपये तक कर दिया गया है।
कांग्रेस ने विधेयक का किया विरोध
एयरक्राफ्ट संसोधन बिल का विरोध करते हुए कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने आरोप लगाया कि यह PPP मॉडल पर हवाई अड्डे को विकसित करने के नाम पर घोटाला है. बीजेपी सांसद जीवीएल नरसिम्हा राव ने बिल का बचाव करते हुए कहा कि यह बिल हमारे विमानन क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए है, जिससे यात्रियों के आवागमन में भारी वृद्धि हुई है.
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