इलाहाबाद हाईकोर्ट ने निठारी कांड के आरोपी सुरेंद्र कोली और पंढेर को किया दोषमुक्त, मिली थी फांसी की सजा

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने नोएडा के चर्चित निठारी कांड के आरोपी सुरेंद्र कोली को दोषमुक्त कर दिया है। कई दिनों तक चली बहस के बाद अदालत ने अपना फैसला सुरक्षित कर लिया था। सोमवार को हाईकोर्ट ने अपना फैसला सुनाया। कोर्ट ने सुरेंद्र कोली को दोषमुक्त कर दिया। निचली अदालत ने उसे फांसी की सजा सुनाई थी। इसके खिलाफ उसने इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। कोठी D 5 के मालिक मोनिंदर सिंह पंढेर को भी कोर्ट ने बरी कर दिया है। न्यायमूर्ति अश्वनी कुमार मिश्रा और न्यायमूर्ति एसएएच रिजवी की अदालत ने यह फैसला सुनाया..

हालांकि, कोली को सुप्रीम कोर्ट ने एक केस में फांसी की सजा सुनाई है। जो फिलहाल बरकरार रहेगी। ये फैसला जस्टिस अश्वनी कुमार मिश्र और जस्टिस एसएचए रिजवी की बेंच ने सुनाया है। लंबी चली बहस के बाद अपीलों पर फैसला सितंबर महीने में सुरक्षित कर लिया गया था।

कोली पर आरोप है कि वह पंढेर कोठी का केयरटेकर था और लड़कियों को लालच देकर कोठी में लाता था। निठारी गांव की दर्जनों लड़कियों गायब हो गई। वह उनसे दुष्कर्म कर हत्या कर देता था। लाश के टुकड़े कर बाहर फेंक आता था।

फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चैलेंज करेंगे

CBI के वकील संजय यादव ने कहा, “रिम्पा हल्दर मर्डर केस में सुरेंद्र कोली को फांसी की सजा ट्रायल कोर्ट से सुनाई जा चुकी है। सुप्रीम कोर्ट ने भी इस सजा को बरकरार रखा है। इस मुकदमे में जो एविडेंस थे, वही एविडेंस बाकी मुकदमों में थे। हम हैरत में हैं कि एक जैसे साक्ष्य होने पर हाईकोर्ट ने बाकी मुकदमों में सुरेंद्र कोली को कैसे बरी कर दिया। हम इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चैलेंज करेंगे।”

 वर्ष 2005-06 के बीच का है यह प्रकरण

यह प्रकरण वर्ष 2005-06 के बीच का है। मामले का पर्दाफाश तब शुरू हुआ, जब नौकरी की तलाश में घर से निकली एक युवती के पिता ने बेटी की गुमशुदगी की रिपोर्ट नोएडा के सेक्टर-20 थाने में दर्ज कराई। पुलिस की जांच में दिल दहला देने वाला मामला प्रकाश में आया था।

पुलिस ने निठारी में रहने वाले मोनिंदर सिंह पंढेर की कोठी के पीछे नाले से बच्चों और महिलाओं के दर्जनों कंकाल बरामद किए गए थे। पुलिस ने मोनिंदर सिंह और उसके नौकर सुरेंद्र कोली को आरोपी बनाया था। पुलिस की विवेचना के बीच ही मामला सीबीआई को ट्रांसफर कर दिया गया। सीबीआई ने दोनों के खिलाफ अपहरण, दुष्कर्म और हत्या के कुल 16 मामले दर्ज किए थे