शिवराज चौहान ने राज्यपाल के सामने कराई बीजेपी के 106 विधायकों की परेड, कहा-अल्पमत में है कमलनाथ सरकार

मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार का संकट भले ही 26 मार्च तक टल गया हो लेकिन बीजेपी इसके खिलाफ जंग का ऐलान कर दिया है. पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने राज्यपाल लालजी टंडन के सामने अपने 106 विधायकों की परेड कराई. शिवराज सिंह चौहान ने राज्यपाल को समर्थन की सूची भी सौंपी है. इस दौरान राज्यपाल ने विधायकों को भरोसा दिया कि वह संविधान के अनुसार कार्रवाई करेंगे. गवर्नर बोले कि विधायकों के अधिकारों का हनन नहीं होगा.

अल्पमत सरकार को निर्णय लेने का अधिकार नहीं

राज्यपाल से मिलने के बाद पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि कमलनाथ सरकार अपनी बहुमत खो चुकी है और अब उनके पास केवल 92 विधायकों का समर्थन हासिल है. उन्होंने कहा कि अल्पमत सरकार को कोई भी महत्वपूर्ण निर्णय लेने का अधिकार नहीं है. अब मध्यप्रदेश में बीजेपी को बहुमत है और हमने राज्यपाल को अपने विधायकों की समर्थन की सूची सौंप दी है.

विस की कार्यवाही 26 मार्च तक स्थगित

मध्य प्रदेश की कमलनाथ सरकार पर छाया संकट भले की कुछ दिनों के लिए टल गया हो. कोरोना को लेकर स्पीकर ने विधानसभा की कार्यवाही को 26 मार्च तक के लिए टाल दिया है. सोमवार को जैसे ही विधानसभा की कार्यवाही शुरू हुई और राज्यपाल का अभिभाषण हुआ तो उसके तुरंत बाद कार्यवाही को स्थगित कर दिया गया.

सुप्रीम कोर्ट में मंगलवार को होगी सुनवाई

सोमवार को सदन की कार्यवाही 26 मार्च तक स्थगित होने के बाद भारतीय जनता पार्टी ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया. बीजेपी लगातार मांग कर रही थी कि सोमवार को ही फ्लोर टेस्ट करवाया जाए, लेकिन ऐसा नहीं हो सका. इसी के बाद पूर्व मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी के नेता शिवराज चौहान ने सर्वोच्च अदालत में याचिका दी. सुप्रीम कोर्ट में इस मामले पर मंगलवार को सुनवाई होगी. हालांकि, रजिस्ट्रार की ओर से कहा गया है कि याचिका में कुछ खामियां हैं, अगर ये दूर होती हैं तो कल ही इसपर सुनवाई हो सकती है. बीजेपी की ओर से मांग की गई है कि अदालत कमलनाथ सरकार को 24 घंटे में बहुमत परीक्षण कराने के आदेश दे.

सिंधिया के बीजेपी में जाने से गहराया संकट

ज्योतिरादित्य सिंधिया के कांग्रेस छोड़ बीजेपी के साथ जाने के बाद 22 विधायकों ने इस्तीफा दिया था. इसी के बाद कमलनाथ सरकार पर बहुमत साबित करने का संकट है. मौजूदा वक्त में कांग्रेस गठबंधन के पास मात्र 99 विधायक हैं, जबकि बीजेपी के पास अपने 107 विधायक हैं.