
एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने गोपालगंज के बाद अब कुढ़नी में भी महागठबंधन के लिए चुनौती बनने वाले है जिसका सीधा फायदा बीजेपी को जाता दिख सकता है। एआईएमआईएम ने भी कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव में अपना उम्मीदवार उतार दिया है। पार्टी ने उम्मीदवार के तौर पर ऑल इंडिया मोमिन कॉन्फ्रेंस के सदस्य और पूर्व जिला पार्षद गुलाम मुर्तजा अंसारी को मैदान में उतारा है। गुलाम मुर्तजा जेडीयू के साथ-साथ आरजेडी में भी रह चुके हैं। अब देखना दिलचस्प होगा कि कुढनी की चुनावी लड़ाई में गुलाम मुर्तजा अंसारी को कितने वोट मिलते हैं।
एआईएमआईएम के प्रदेश अध्यक्ष-सह-विधायक अख्तरूल ईमान ने बताया कि पार्टी ने गुलाम मुर्तजा अंसारी को कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव के लिए मैदान में उतारा है। चुनाव में हम अपनी पूरी ताकत लगा देंगे। उन्होंने कहा कि मुस्लिम किसी पार्टी या नेता के बंधुआ नहीं हैं। हर पार्टी मुसलमानों का वोट लेती है, लेकिन उनके लिए कुछ करने का काम नहीं करती है। आजादी के बाद अब तक मुसलमान केवल वोट बैंक के रूप में प्रयोग होते रहे हैं। उनके विकास पर किसी ने कोई काम नहीं किया है।
इधर, असदुद्दीन ओवैसी का मानना है कि गोपालगंज का उपचुनाव लड़ कर उन्होंने एकदम सही काम किया है। गोपालगंज में जिन लोगों ने उनके उम्मीदवार को वोट दिया, वे उन्हें सलाम करेंगे। महागठबंधन को हराने के लिए उम्मीदवार उतारने के सवाल पर ओवैसी ने कहा कि वे लालू-नीतीश या कांग्रेस से पूछ कर तो चुनाव नहीं लड़ेंगे न। बिहार में राजद की सरकार है, ये तजस्वी यादव को सोंचना चाहिये कि लोगों ने उन्हें वोट क्यों नहीं दिया।
एक टीवी चैनल के कार्यक्रम में असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि फिलहाल देश में नरेंद्र मोदी का कोई विकल्प सामने नहीं है। ओवैसी ने कहा कि नीतीश कुमार तो खत्म हो चुके हैं। नीतीश कुमार अब राजनीति में एक्सपायरी डेट की दवा हो चुके हैं। राहुल गांधी में प्रधानमंत्री बनने लायक कुछ भी नहीं है। औवैसी ने कहा कि हमने बिहार में चार साल मेहनत कर लोगों को अपने पक्ष में गोलबंद किया था। जिन्हें कोई जानता नहीं था उन्हें टिकट दिया था। हमारे पांच विधायक जीते और उनमें से चार को राजद ने तोड़ लिया। तब किसी ने कुछ भी क्यों नहीं कहा।
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