समाज का यह बदलाव अच्छा नही, चाचा ने भतीजे को भरी सड़क पर चाकुओं से गोद कर मार डाला, संवेदन हीन हुआ समाज।

समाज आज आखिर कहां जा रहा है? आखिर क्यों आज समाज के लोगो में प्रेम, मोहब्बत की कमी हो गई है? लोग आज इस कदर बदल चुके हैं कि आज उनकी हाथ अपनो को मरते वक्त भी नही कांपती। ना ही एक बार भी दिल यह गवाही देता है कि रुक जाओ यह तो अपने हैं। उत्तर प्रदेश के मेरठ से एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आयी है। इस घटना ने समाज के बदलते रिश्तों पर प्रश्न चिन्ह लगा दिया है तथा समाज को यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि आज के समाज में क्या पैसों के आगे अपनो की कोई अहमियत नहीं होती।

मेरठ जिले में दिन दहाड़े प्रॉपर्टी विवाद में चाचा ने अपने ही भतीजे को बीच सड़क पर चाकुओं से गोद कर मार डाला। बता दें कि यह दिल दहला देने वाली घटना ब्रह्मपुरी थाना क्षेत्र के इत्तेफाकनगर इलाके में लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई। घटना के दौरान सड़क पर राहगीर आ जा रहे थे, लेकिन किसी ने हमलावर को पकड़ने और पीड़ित को बचाने का कोई प्रयास नहीं किया। ( गलत होते हुए देखने के बावजूद लोगो का आवाज न उठाना संवेदन शून्य हो रहे समाज की ओर तो इशारा नही कर रहा। )

मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। जानकारी के अनुसार लिसाड़ीगेट क्षेत्र के घंटे वाली गली निवासी यूनुस ने बताया कि शनिवार को बेटे राशिद का घर में शराब पीने को लेकर चाचा नौशाद जावेद शहजाद से झगड़ा हो गया था। लिसाड़ी गेट थाने में आरोपियों के खिलाफ शिकायत की थी। लेकिन परिवार के लोगों ने देर रात समझौता करा दिया था। रविवार सुबह साजिद लिसाड़ी रोड पर मस्जिद से नमाज पढ़कर वापस लौट रहा था। तभी चाचा होने मारपीट कर चाकू से हमला कर दिया।

बताया जा रहा है कि शनिवार की रात घर में शराब पीने को लेकर साजिद और आरोपियों के बीच विवाद हो गया था। साजिद ने आरोपियों के विरूद्ध पिलोखड़ी चौकी पर इसकी शिकायत की थी। बाद में दोनों पक्षो के बीच समझौता हो गया था, पुलिस घटनास्थल की सीसीटीवी कैमरे की फुटेज लेकर आरोपियों की तलाश कर रही है।

निर्भयता से अच्छी मौत होती है। समाज में अगर गलत होता देख कर भी हम उसके खिलाफ आवाज नही उठा रहे तो हम समाज के गद्दार हैं। हम समाज में जन्मे, समाज से शिक्षा लिया, समाज ने हमे हर सुविधाएं दी, हमे महफूज रहने के लिए आज हमे इसका रक्षक बनना पड़ेगा।

पैसों के पीछे भागने वालो, सबकी एक कहानी है,

हमने कफन बांधा है, मौत तो आपकी भी दीवानी है।।